चंडीगढ़, 11 जनवरी। हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि सीवरेज सफाई के दौरान सीवरमैन की मौत हो जाने पर उनके परिवार को 10 लाख रुपये की सहायता राशि दी जा रही है। अभी तक प्रदेशभर में 57 सीवरमैन के परिवारों को यह सहायता राशि दी गई है। सफाई के काम में लगी प्राइवेट कंपनियां यदि इस सहायता राशि को देने में कौताही बरतेंगी तो उनके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की जाएगी। मुख्यमंत्री मंगलवार को मैनुअल स्कैवेंजिंग एक्ट पर गठित राज्य निगरानी समिति की बैठक ले रहे थे। इसमें सहकारिता मंत्री बनवारी लाल भी मौजूद रहे।
बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग को निर्देश दिए कि सभी नगर निगम व नगर पालिकाओं में सीवरेज की सफाई करने वाली मशीनें एक रोटेशन में उपलब्ध हों। उन्होंने कहा कि जिन जगहों पर पुराने सीवरेज हैं, वहां पर उसी तरह की तकनीक पर आधारित मशीनों से सफाई की जाए। इसके अलावा जिन स्थानों पर नई सीवरेज व्यवस्था है, वहां पर अत्याधुनिक रोबोटिक मशीनों से सीवरेज की सफाई करवाई जाए। मुख्यमंत्री ने इस बात पर भी जोर दिया कि विभाग द्वारा इस तरह मशीनों की रोटेशन करनी चाहिए कि हर निगम व नगर पालिका में मशीनों से समयबद्ध तरीके से सीवरेज की सफाई की जा सके।
मुख्यमंत्री ने शहरी स्थानीय निकाय विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि सफाई के काम में लगे कर्मचारियों की समिति बनाकर सफाई से जुड़े ठेके देने की व्यवस्था बनाई जाए। कंपनियों व अन्य ठेकेदारों के साथ-साथ इन्हें भी प्राथमिकता दी जानी चाहिए। ताकि इस वर्ग का भी भला हो सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेशभर में मैनुअल तरीके से सीवरेज की सफाई करना प्रतिबंधित है। प्रदेश सरकार का जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग लगातार सफाई कर्मचारियों को अत्याधुनिक यंत्रों से सफाई करने का प्रशिक्षण दे रहा है। मैनुअल तरीके से सफाई पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने के लिए ही एक्ट बनाने के साथ-साथ राज्य निगरानी समिति का गठन किया गया है। उन्होंने कहा कि तय समय पर इस समिति की बैठक होनी चाहिए, ताकि आवश्यक फैसले लिए जा सके।
बैठक के दौरान बवानीखेड़ा के विधायक बिशम्भर सिंह, नरवाना के विधायक राम निवास, मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव डीएस ढेसी, एसीएस अमित झा, प्रधान सचिव विनीत गर्ग, अपूर्व कुमार सिंह, एमडी एचएसआईडीसी विकास गुप्ता, लेबर कमिश्नर टीएल सत्यप्रकाश, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव डॉ. अमित अग्रवाल, एचएसवीपी के मुख्य प्रशासक अजीत बालाजी जोशी, मुख्यमंत्री की उपप्रधान सचिव आशिमा बराड़ व राज्य निगरानी समिति के गैर सरकारी सदस्य सुखबीर चंदौलिया, रजनी परोचा, शकुंतला देवी मौजूद रही।